आप में से बहुत लोग Bhasha Ke Kitne Roop Hote Hain इसका उत्तर जानने के लिए इंटरनेट पर वहत लोग बहुत सर्च करते हैं। लेकिन अधिकतर वेबसाइट में आपको भाषा के हर एक रूप को अच्छी तरीके से आलोचना नहीं करते होंगे। क्योंकि अन्न वेबसाइट में अधिकतर जो भी लोग आर्टिकल लिखते हैं उन लोगों को भाषा के बारे में इतना ज्ञान होता ही नहीं होगा जिस वजह से वह अच्छी तरीके से भाषा के कितने रूप होते हैं, इस प्रश्न का उत्तर सटीक तरीके से आपके सामने प्रस्तुत कर पाए।
आज हम एक हिंदी पढ़ाने वाले शिक्षक के साथ आलोचना करके आपको बताने वाले हैं कि भाषा के कितने रूप हैं एवं इसका क्या-क्या उपकरण होता है। हमारे संस्कृति चिकन के अनुजाई भाषा के साधारण 3 तीन रूप होते हैं। तो अगर आपको भाषा के कितने रूप होते हैं ( Bhasha Ke Kitne Roop Hote Hain ) इसका उत्तर के भाषा के बारे में और भी कुछ विस्तार से जानना है तो हाम अनुरोध करेंगे हमारी इस लेख को अंत तक अच्छी तरीके से परे।
भाषा के कितने रूप होते हैं | Bhasha Ke Kitne Roop Hote Hain
अगर आप भाषा के कितने रूप होते हैं (Bhasha Ke Kitne Roop Hote Hain), इसके बारे में विस्तार से जानना चाहते हैं तो उससे पहले आपको भाषा किसे कहते हैं यह जानना बहुत ही आवश्यक है। इसलिए हम आपको अनुरोध करते हैं आप पहले भाषा के परिभाषा के बारे में अच्छी तरीके से जानने के बाद ही भाषा के हर एक रूप के बारे में जानिए। फिलहाल तो आज इस लेख में भाषा के हर एक रूप को लेकर विस्तारित आलोचना करेंगे इसीलिए आप नीचे दिए गए पैराग्राफ को पढ़ते रहे।
हिंदी भाषा के ग्रामर के अनुजाई भाषा मुख्यतः तीन प्रकार होते हैं। जो है:
- मौखिक भाषा
- लिखित भाषा
- संकेतिक भाषा
यह है 3 भाषा के रूप के नाम जो आपको अच्छी तरीके से हर वक्त याद करके रखना है। लेकिन अगर आप भाषा के हर एक तीन भेद को अच्छी तरीके से जानना चाहते हैं, तो यह तीनों भाषा की विस्तार विवरण को जानना बहुत ही आवश्यक है।
मौखिक भाषा क्या है (भाषा के प्रथम रूप)
मौखिक भाषा क्या है: कोई व्यक्ति अपने मन की हर एक भाव को दूसरे व्यक्ति को बोलकर समझाने की प्रक्रिया के समय जो भाषा का व्यवहार करते हैं, उसको बोलते हैं मौखिक भाषा। अगर साधारण भाषा में बोला जाए तो कोई भी व्यक्ति अपने मुंह से कुछ भी बोल कर कुछ कार्य करता है उसको ही हम लोग साधारण भाषा में मौखिक भाषा बोल सकते हैं। यानी की अगर अपने मुंह से कुछ भी अर्थ पूर्वक भाषा या बातें निकली हो इसको ही हम साधारणत मौखिक भाषा बोल सकते हैं।
उदाहरण के तौर पर: जेसे कि अगर हम कोई भी फुटबॉल मैच खेलने जाए, तो उस टाइम एक प्लेयर दूसरे प्लेयर को फुटबॉल पास करने के लिए हम बहुत कुछ एक दूसरे को बोलते रहते हैं, जिसको ही हम मौखिक भाषा का उदाहरण बोल सकते हैं। अगर आप मुंह के भाषा के रूप के बारे में जानना चाहते हैं तो हमारी इस दुनिया में हजारों ऐसे मुंह की भाषा है जो एक व्यक्ति अपने मन के भाव दूसरे व्यक्ति को समझाने के लिए यूज करते हैं।
अगर आप भारत की बात करें तो भारत में अभी तक 121 भाषाएं मौजूद हैं जिसको हम मौखिक भाषा के रूप में बोल सकते हैं एवं इसमें से सिर्फ 22 भाषा को ही संविधान एक रूप में स्वीकृति दिया गया है। भारत के कुछ पॉपुलर मौखिक भाषा के नाम है
- हिंदी
- बंगाली
- तेलुगु
- सिंधी
- संस्कृति
- पंजाबी
- मराठी
- नेपाली
- कनाडा
- असमिया
- गुजराती
- मणिपुरी
- मैथिली
- उर्दू
- तमिल
- बोडो
- संथाली
ऊपर दिए गए यह सारे भाषा है आजकल भारत में मौखिक भाषा के तौर पर बहुत ही पॉपुलर है। इसमें से अगर आप हिंदी मौखिक भाषा को अच्छी तरीके से जानते हैं तो आप भारत के हर एक राज्य में आसानी से घूम सकते हैं। आशा करता हूं आपको भाषा के इस रूप के बारे में अच्छी तरीके से ज्ञान हो गया है।
लिखित भाषा क्या है (भाषा के दूसरा रूप)
भाषा के कितने रूप होते हैं ( Bhasha Ke Kitne Roop Hote Hain ) इसका जब आप सटीक एवं पूर्ण तरीके से समझाने के लिए आपको लिखित भाषा को अच्छी तरीके से समझना पड़ेगा। ठीक मुखी भाषा के तरह है अगर हम अपने मन या दिमाग की कुछ चीजों को कहीं पर भी लिख कर दूसरे कोई व्यक्ति को समझाने का प्रयास करते ए तो जिस प्रकार भाषा का इस्तेमाल होता है इसको ही हम लिखित भाषा बोलते हैं।
उदाहरण के तौर पर: अगर आप एक कॉलेज में पढ़ते हो एवं आपको किसी भी चीज के लिए कॉलेज अथॉरिटी के पास एक एप्लीकेशन लिखना हो तो, आप इस एप्लीकेशन के जरिए अपने मन की हर एक बात व्यक्त करके कॉलेज अथॉरिटी को समझाने का प्रयास करते हो। इस एप्लीकेशन लिखने की प्रोसेस में आप जो भाषा का यूज करते हो उसको ही आप लिखित भाषा का उधारण बोल सकते हो।
मौखिक भाषा की तरह ही भारत में ऐसे बहुत सारे लिखित भाषा है जो लाखों लोग एक दूसरे को कोई भी चीज समझाने के लिए यूज करते हैं। लेकिन उसमें से कुछ पॉपुलर लिखित भाषा है जो सरकार की तरफ से शिकृति दिया गया है उनमें से कुछ लिखित भाषा का नाम नीचे लिस्ट में दिया गया है।
- हिंदी लिखित भाषा
- बंगाली लिखित भाषा
- अंग्रेजी
- मराठी
- गुजराती
- मणिपुरी
- असोमिया
- तमिल
- तेलुगू
- पंजाबी इत्यादि.
यह है कुछ पॉपुलर लिखित भाषा है जो भारत में आजकल ऑफिशियल के तौर पर बहुत यूज हो रहे हैं चलिए आपको भाषा की इस रूप को जानना बहुत ही आवश्यक है।
संकेतिक भाषा क्या है
भाषा के रूप (Bhasha Ke Roop) मैं से सबसे लास्ट में आता हैं सांकेतिक भाषा। यह सांकेतिक भाषा एक ऐसे तरीके का भाषा है जिसके जरिए कोई भी एक व्यक्ति दूसरे व्यक्ति को कोई भी चीज समझाने के लिए कुछ संकेत का यूज करते हैं।
इस तरीके का भाषा आपको इंडिया के हर एक जगह में मिल जाएगा क्योंकि, अगर हम लोग कोई भी चीज को बोलकर या फिर लिखकर कोई दूसरे व्यक्ति को नहीं समझा पाते हैं तो हम इस संकेतिक भाषा का यूज करते हैं। एक ऐसे तरीके का भाषा है जो आपको इंडियन संविधान में देखने को नहीं मिलेगा लेकिन इसके जरिए हम लोग बहुत कुछ दूसरे व्यक्ति को बहुत आसानी से समझा पाते हैं।
यह है भाषा के तीन रूप जिसको हर एक इंडियन को जानना बहुत ही जरूरी है।
FAQs
भाषा के कितने रूप होते हैं?
साधारण सा भाषा के तीन रूप होते हैं, जो है मौखिक भाषा, लिखित भाषा एवं संकेतिक भाषा।
भाषा के कौन से दो रूप होते हैं?
भाषा के दो रूप का नाम है मौखिक भाषा एवं लिखित भाषा।
भाषा के प्रमुख रूप कौन-कौन से है?
भाषा के तीन रूप होते हैं जो है अधिभाषा, भाषा एवं बानी।
भाषा के प्रकार क्या-क्या है?
भाषा साधारण था तीन प्रकार का होता है।
निष्कर्ष
तो अगर आप हमारे इस लेख को अच्छी तरीके से पढ़ लिए होंगे तो आपको भाषा के कितने रूप हैं इसके बारे में विस्तार से ज्ञान हो गया होगा। इसके अलावा अगर आपके मन में Bhasha Ke Kitne Roop Hote Hain को लेकर कुछ भी प्रश्न है तो आप नीचे दिए गए कमेंट बॉक्स में आपका प्रश्न पूछ सकते हैं। हम जल्द से जल्द आपकी हर एक भाषा संबंधित प्रश्न के उत्तर देने का प्रयास करेंगे।