दोस्तों क्या आप जानते हैं कृष्ण जन्माष्टमी क्यों मनाया जाता है? हर साल हर एक कृष्ण भक्त कृष्ण की जन्माष्टमी को मनमोहन पूर्व मनाने के लिए इस दिन का प्रतीक्षा करते हैं। शायद आप भी उनमें से एक ही होंगे। आप कृष्ण का जन्माष्टमी इस शब्द को सुनने के पश्चात ही आप समझ गए होंगे इस दिन भगवान कृष्ण का जन्म धरती में हुआ था जो पाप के विनाश के लिए बहुत ही आवश्यक था।
लेकिन दोस्तों कृष्ण जन्माष्टमी संबंधित सब कुछ जानने के लिए आपको सर्वप्रथम यह जानना होगा कि हर साल कौन सी तिथि में इस त्यौहार को मनाया जाता है एवं इस त्यौहार को मनाने के पीछे सबसे बड़ा कारण क्या है।
तो अगर आप Krishna Janmashtami संबंधित सब कुछ विस्तारित जानना चाहते हैं एवं आपके दोस्तों को भी जाना ना चाहते हैं तो हमारी इस लेख को पर क्या आपके दोस्तों के साथ भी जरूर शेयर करें।
कृष्ण जन्माष्टमी क्यों मनाया जाता है
कृष्ण जन्माष्टमी क्यों मनाया जाता है: इस साल यानी की 2023 में 6 सितंबर एवं 7 सितंबर को कृष्ण जन्माष्टमी मनाने के पीछे का कारण है: आज से कई हजार साल पूर्व भगवान विष्णु इसी दिन भगवान श्री कृष्ण के रूप में हमारे पृथ्वी में जन्म ग्रहण किया था।
और भगवान श्री कृष्ण की जन्म के बाद हमारे पृथ्वी में जो भी आसुरी शक्तियों का विस्तार हो रहा था उसका प्रकोप धीरे-धीरे कम होता गया जिस वजह से हम लोग श्री कृष्ण के जन्मदिन को बहुत ही धूमधाम त्यौहार के तरह मानते हैं।
शायद आप जानते होंगे कि भगवान श्री कृष्ण के पिता माता का नाम है देवकी एवं पिता वासुदेव। शायद आप जानते होंगे कि भगवान श्री कृष्णा देवीका एवं वासुदेव के आठवीं पुत्र थे। और हर साल हम लोग इसी दिन भगवान श्री कृष्ण के जन्म को लेकर हर एक चीज को अच्छी तरीके से लोगों को बोलते हैं जिससे वह लोग भगवान श्री कृष्ण के जन्म के महत्व को समझ सके।
तो चलिए अभी हम लोग भगवान श्री कृष्ण के जन्म दिवस के महत्व को जानते हैं।
श्री कृष्ण जन्मदिवस की महत्व
भगवान श्री कृष्ण के जन्म के समय मथुरा का राजा कंस बहुत ही जालिम एवं कठोर तरीके का इंसान था। जो उनके प्रजा के ऊपर बहुत ही अत्याचार करता था एवं इसके साथ-साथ पृथ्वी में और भी बहुत आसुरी शक्ति का प्रकोप बढ़ने लगा था।
तभी भगवान विष्णु कृष्ण के अवतार में मथुरा का राजा कंस के बहन के आठवीं पुत्र के रूप में जन्म लिया। हालांकि पौराणिक कथा के अनुसार यह बोला जाता है कि जब भी कंस की बहन की शादी हुआ तब आकाशगंगा ने एक बार मथुरा का राजा कंस को बोला था कि उसकी बहन की 8 वी पुत्र ही उसकी मृत्यु का कारण बनेगा।
यह बात आकाशगंगा से जब कंस को सुनाई दिया तब उसने उसके बहन एवं वासुदेव को एक कारागार में डाल दिया एवं उसकी सेवा को बोला है कि 24 घंटे ही उसके ऊपर निगरानी रखें। इसी बीच कंस की बहन के जो भी पहले साथ भी पुत्र हुआ वह सारे पुत्र को कंस ने अपने हाथों से ही मार दिया।
लेकिन उसके बाद जब वासुदेव एवं देविका के आठवीं पुत्र हुआ तब भगवान श्री कृष्ण के लीला के तहत वासुदेव ने उसके पुत्र को गूगल में ले जाकर यशोदा माता को सौंपते एवं यशोदा माता के पुत्र को वह ले आए। लेकिन इसी बीच किसी को यानी कि कंस के एक भी सुना को इसका आहट भी नहीं हुआ।
इसी तरह भगवान श्री कृष्ण गोकुल में रहकर ही भरा हुआ था एवं उसके बाद उसका मामा कंस को मार कर मथुरा के जो भी प्रजा थे उसको मुक्त किया। यही है मुख्य कारण जिस वजह से हम लोग हर साल कृष्ण जन्माष्टमी मानते हैं।
जन्माष्टमी कब मनाया जाता है
हर एक साल की तरह इस साल यानी की 2030 में जन्माष्टमी 6 सितंबर एवं 7 सितंबर को मनाया जाएगा। इस दिन पूरे विश्व में श्री कृष्ण की जो भी वक्त है वह लोग बहुत ही धूमधाम से श्री कृष्ण के जन्म दिवस को जन्माष्टमी के त्यौहार के रूप में मनाते हैं।
निष्कर्ष
तो जैसे कि आप देख रहे हैं आज हम इस लेख में श्री कृष्ण जन्माष्टमी क्यों मनाया जाता है एवं कब जन्माष्टमी मानते हैं इसको लेकर विस्तारित तरीके से आलोचना किए हैं। आशा करता हूं आप में से जो भी हमारी इस जन्माष्टमी लेख को अंत तक अच्छी तरीके से परे होंगे वह श्री कृष्ण के जन्म दिवस को लेकर कोई भी बात जानने का बाकी नहीं रह गया होगा।
इसके उपरांत भी अगर आपके मन में Shri Krishna Janmashtami को लेकर कुछ भी प्रश्न है तो आप बिना कुछ सोच ही नीचे कमेंट बॉक्स में पूछ सकते हैं। उसके बाद हम लोग जल्द से जल्द प्रयास करेंगे आपके प्रश्न का उत्तर देने के लिए।
Laudabehan ka