दोस्तों क्या आप जानते हैं पीके रोज़ी कौन थे? शायद नहीं क्योंकि आपने से अधिकतर लोगों को यह पीके रोज़ी कान्हा पहली बार सुनाई दिया होगा। जी हां और इसका कारण है गूगल 10 फरवरी को अपने गूगल डूडल में P.K Rosy का छवि लगाकर अपने ऑफिशियल सर्च इंजन पेज पर प्रमोट कर रहे हैं।
जैसे कि हम जानते हैं हमारे देश के अधिकतर इंटरनेट यूजर ही गूगल को खोल कर सर्च करते हैं। इसलिए जब भी बोलो गूगल को खोलेंगे एवं 10 फरवरी को पीके रोज़ी का फोटो देखेंगे तो स्वाभाविक ताहि वह लोग पीके रोज़ी के बारे में जानना चाहेंगे। और इसमें से सबसे प्रथम सवाल होगा कि गूगल कि आज पीके रोजी को अपने गूगल डूडल पेज पर दिखाया है। तो दोस्तों अगर आप PK Rosy के बारे में विस्तृत जानकारी चाहते हैं तो हमारे इस लेख को अंत तक जरूर पढ़ें।
पीके रोज़ी कौन थे | PK Rosy Kon The In Hindi
गूगल के ऑफिशियल पेज पर पीके रोज़ी का फोटो देखकर आप यह तो समझ गए होंगे कि पीके रोजी एक बहुत ही खेती एवं जाने वाले महिला का नाम है जिस वजह से गूगल अपने होमपेज पर उनका फोटो दिखा रहा है। लेकिन सबसे बड़ा प्रश्न यह है ऐसा कौन सा कारण है जिस वजह से गूगल ऐसा कर रहे हैं। तो चलिए आप ही सर्वप्रथम हम लोग यह जानते हैं कि पीके रोज़ी एक कौन थे।
असल में दोस्तों पीके रोजी भारतीय सिनेमा जगत की एक जाने-माने अभिनेता थे जो मलयालम सिनेमा में काम करते थे। पीके रोज इन मलयालम सिनेमा के पहले अभिनेता थे जो अपने कुछ सिनेमा में अभिनेता का खीताब पालन करते हुए मलयालम में बहुत नाम कमा लिया था।
उनका नाम | पीके रोजी (PK Rosy) |
उनके माता-पिता का नाम | कौनजी एवं पोलोशी |
उनका जन्म तारीख | वर्ष 1930 में तिरुवंतपुरम में हुआ था। |
मृत्यु तारीख | वर्ष 1988। |
पीके रोज़ी का बच्चे का नाम | Nagappan Pillai, Padma Pillai |
उनका प्रमुख सिनेमा का नाम | Vigathakumaran |
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पीके रोज़ी का प्राथमिक जीवन
जैसे कि आप जानते हैं पीके रोज़ी जी का जन्म वर्ष 1930 में त्रिवेंद्रम नामांक जगह के बुलाया परिवार में जन्म हुआ। उनके जन्म के कुछ साल बाद ही उनका पिताजी का देहांत हो गया एवं उसके बाद उनका सही शब्द जीवन बहुत ही गरीबी में ज्ञान जहां पर वह अन्य लोगों के लिए चारा यानी कि ग्रास काटते थे।
लेकिन उसके साथ साथ पीके रोजी का चित्र शिल्पी में बहुत ही आकर्षित थे जो वह अपने अंकल के साथ करना चाहा। उनके अंकल एक प्राथमिक स्कूल के टीचर थे जो संगीत एवं अभिनय सिखाते थे। ऐसा करते करते उनका उम्र वरते गया एवं वह मलयालम सिनेमा में काम करने के लिए बहुत ही इच्छुक हुआ। लेकिन सबसे बड़ी समस्या यह थी कि उसने कोई भी महिला के लिए भारत की कोई भी सिनेमा में काम करना इतना आसान नहीं था।
लेकिन फिर भी पीके रोजी जी बहुत हिम्मत जुटाकर उस समय मलयालम सिनेमा में काम करने के लिए चले गए एवं बहुत ही कम समय में बहुत नाम भी कमा लिया। इसके साथ साथ भारत की सिनेमा जगत के इतिहास में पीके रोजी जी प्रथम भारतीय अभिनेत्री बन गए जो मलयालम सिनेमा में काम किया।
FAQs
पीके रोजी कौन थे?
पीके रोजी भारतीय मलयालम सिनेमा के प्रथम महिला अभिनेत्री थे।
पीके रोज़ी का मृत्यु कब हुआ।
वर्ष 1988 में पीके रोजी का देहांत हुआ।
निष्कर्ष
दोस्तों जैसे कि आप देख पा रहे हैं आज हम इस लेख में पीके रोज़ी कौन थे एवं गूगल क्यों आज 10 फरवरी के दिन में उनका छवि उनके गूगल डूडल पेज में दिया, इसको लेकर भी थोड़ा आलोचना किए हैं। आशा करता हूं अगर आप हमारे इस लेख को अभी तक अच्छी तरीके से पढ़ लिए होंगे तो आपको पीके रोजी(P.K Rosy) जैसे मलयालम अभिनेत्री के बारे में सब कुछ पता चल गया होगा।